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आइटीबीपी जवान का पार्थिव शरीर पहुंचा उनके घर, सैकड़ो नम आंखों ने बलिदानी चंद्र मोहन सिंह को दी अंतिम विदाई

कलयुग दर्शन (24×7)

नदीम सलमानी (संपादक)

डोईवाला। 25 जुलाई को भारत चीन सीमा के लाहौल स्पीति के समीप वैकल्पिक पुल को पार करते हुए पैर फिसलने से नाले में गिरने से हो गया था निधन। 55 वर्षीय आइटीबीपी इंस्पेक्टर चंद्र मोहन सिंह डोईवाला के जॉली ग्रांट के रहने वाले थे।

बलिदानी आइटीबीपी इंस्पेक्टर चंद्र मोहन सिंह 25 जुलाई को ड्यूटी के दौरान एक वैकल्पिक पुल को पार करते हुए पैर फिसलने से नाले में बह गए थे। जिसके बाद उन्हें जवानों की मदद से अस्पताल में भरती कराया गया था। जहां इलाज के दौरान उनका निधन हो गया।

इस खबर से डोईवाला में शोक की लहर दौड़ गई। वहीं शनिवार को बलिदानी चंद्र मोहन सिंह को सैकड़ो नाम आंखों ने अंतिम विदाई दी।

पूर्व ग्राम प्रधान नरेंद्र सिंह नेगी ने बताया कि बलिदानी चंद्र मोहन सिंह 55 साल के थे और उनका एक बेटा 26 साल और एक बेटी 23 साल की है।

वहीं उन्होंने बताया कि चंद्र मोहन सिंह बेहद मिलनसार थे और उनका एक भाई देवेंद्र सिंह नेगी डोईवाला कोतवाली में हेड कांस्टेबल के पद पर तैनात है।

श्रद्धासुमन अर्पित करने पहुँचे सैनिक कल्याण मंत्री गणेश जोशी व डोईवाला विधायक बृज भूषण गैरोला ने कहा कि सैनिक ने देश की सेवा में अपना सर्वोच्च बलिदान दिया है और उनका यह बलिदान हमेशा याद किया जायेगा।

कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने कहा कि सरकार बलिदानियों के प्रति गंभीर है और सरकार परिवार की हर संभव मदद कर रही है।




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