
कलयुग दर्शन (24×7)
सरविन्द्र कुमार (सह संपादक)
हरिद्वार। कोतवाली लक्सर पुलिस ने लूट की सूचना पर तत्परता दिखाते हुए मामले की सच्चाई महज कुछ ही घंटों में उजागर कर दी। जांच में सामने आया कि कथित लूट की घटना दरअसल झूठी थी, जिसे एक युवक ने ऑनलाइन गेमिंग की लत और कर्ज से बचने के लिए गढ़ा था। मामले की जानकारी देते हुए कोतवाली पारिवारिक निरीक्षक राजीव रौथान ने बताया कि मामला 21 अगस्त 2025 का है। टांडा भागमल गुरुद्वारे में सेवा कर रहे धर्मेंद्र नामक व्यक्ति चौकी रायसी पहुंचा और शिकायत दर्ज कराई कि दरगाहपुर के पास किसी अज्ञात व्यक्ति ने उससे एक लाख नकद, मोटरसाइकिल और मोबाइल छीन लिया और फरार हो गया।
सूचना को गंभीरता से लेते हुए रायसी चौकी प्रभारी नीरज रावत पुलिस टीम के साथ तत्काल मौके पर पहुंचे और आसपास के लोगों से पूछताछ शुरू की। लेकिन जब किसी ने भी घटना की पुष्टि नहीं की, तो शक की सुई खुद को पीडि़त बताने वाले धर्मेंद्र पर ही टिक गई। गहन जांच के दौरान पुलिस को पता चला कि धर्मेंद्र ऑनलाइन गेम खेलने का आदी है। उसने गुरुद्वारा कमेटी से एक लाख उधार लिए थे और चुकाने से बचने के लिए यह मनगढ़ंत लूट की कहानी बनाई। उसकी निशानदेही पर गन्ने के खेत से मोटरसाइकिल भी बरामद कर सीज कर दी गई। लक्सर पुलिस ने झूठी सूचना देने पर आरोपी धर्मेंद्र का पुलिस एक्ट में चालान काटा है और भविष्य में ऐसी हरकत न करने की कड़ी चेतावनी भी दी। जांच टीम में उपनिरीक्षक नीरज रावत, हेड कांस्टेबल प्रदीप कन्नोजिया, हेड कांस्टेबल सूरजीत सिंह, कांस्टेबल महेन्द्र सिंह एवं कांस्टेबल अनिल वर्मा शामिल रहे।
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