उत्तराखंड

एनजीटी विशेषज्ञ सदस्य ने की समीक्षा बैठक, गंगा संरक्षण हेतु दिए निर्देश

कलयुग दर्शन (24×7)

सागर कुमार (सह संपादक)

हरिद्वार। जनपद भ्रमण पर पहुँचे राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण (एनजीटी) के विशेषज्ञ सदस्य डॉ. अफरोज अहमद ने शनिवार को एचआरडीए सभागार में जिला पर्यावरण प्रबंधन योजना की समीक्षा बैठक की। बैठक में जिलाधिकारी मयूर दीक्षित सहित तमाम विभागीय अधिकारी मौजूद रहे।

बैठक के दौरान डॉ. अहमद ने जनपद में ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, प्लास्टिक उन्मूलन, सीवरेज व्यवस्था और औद्योगिक इकाइयों से निकलने वाले अपशिष्ट पर नियंत्रण की समीक्षा की। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि हरिद्वार धर्म नगरी है और यहां का धार्मिक महत्व अत्यधिक है, इसलिए मां गंगा व उसकी सहायक नदियों के संरक्षण और संवर्धन को प्राथमिकता दी जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि गंगा और नदियों को स्वच्छ एवं निर्मल बनाए रखने के लिए आम जनमानस को जागरूक करना बेहद जरूरी है। इसके लिए कम्युनिटी रेडियो के माध्यम से धर्मगुरुओं और पर्यावरण विशेषज्ञों को जोड़कर गंगा के धार्मिक महत्व का व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाए।

डॉ. अहमद ने स्पष्ट निर्देश दिए कि किसी भी प्रकार का ठोस अपशिष्ट गंगा में न जाने पाए। इसके लिए सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट्स के संचालन को और बेहतर बनाने पर बल दिया गया। साथ ही उन्होंने कूड़ा निस्तारण स्थलों की निगरानी हेतु सीसीटीवी कैमरे लगाने के भी निर्देश दिए। उन्होंने औद्योगिक इकाइयों और मिलों को भी चेतावनी दी कि उनका ठोस अपशिष्ट और केमिकल युक्त पानी किसी भी हालत में नदियों में न छोड़ा जाए।

बैठक के अंत में डॉ. अफरोज अहमद ने जिला प्रशासन द्वारा अब तक पर्यावरण संरक्षण और संवर्धन के क्षेत्र में किए जा रहे प्रयासों की सराहना की और अधिकारियों को बधाई दी। जनपद आगमन पर जिलाधिकारी मयूर दीक्षित ने डॉ. अहमद का स्वागत किया और उन्हें आश्वस्त किया कि उनके दिशा-निर्देशों और सुझावों पर संबंधित विभागों द्वारा नियमानुसार त्वरित कार्यवाही सुनिश्चित की जाएगी।

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